हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने शनिवार को करसोग में आयोजित जनसभा के दौरान बड़ा ऐलान किया। उन्होंने कहा कि अब राज्य के हर सिविल अस्पताल में छह विशेषज्ञ डॉक्टरों की तैनाती की जाएगी ताकि आम जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिल सकें।
मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा कि केंद्र सरकार की आर्थिक पाबंदियों के बावजूद राज्य सरकार जनता के हितों से पीछे नहीं हटेगी। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने के लिए पुरानी पेंशन योजना (OPS) बहाल की है, जिसके बाद केंद्र सरकार ने हिमाचल की ऋण सीमा में 1600 करोड़ रुपये की कटौती की है। इसके बावजूद, सरकार अपने वादों पर कायम है और कर्मचारियों का हित सर्वोपरि है।
🏥 स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की नई व्यवस्था
मुख्यमंत्री ने बताया कि बड़े सरकारी अस्पतालों में अब चिकित्सा अधीक्षक (MS) और डिप्टी मेडिकल सुपरिटेंडेंट (डिप्टी MS) की 24 घंटे रोटेशनल ड्यूटी व्यवस्था लागू की जाएगी। उन्होंने स्वास्थ्य सचिव एम. सुधा को निर्देश दिए कि ऐसी प्रणाली तैयार की जाए, जिससे किसी भी समय अस्पताल में वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहें और आपात स्थिति में तुरंत निर्णय लिया जा सके।
सुक्खू ने यह भी कहा कि शाम 5 बजे के बाद अधिकतर अस्पतालों में वरिष्ठ डॉक्टरों की अनुपस्थिति से मरीजों को परेशानी होती है। नई व्यवस्था के तहत अब एमएस और डिप्टी एमएस दोनों की शिफ्ट तय होगी — एक दिन में और दूसरा रात में ड्यूटी करेगा, जिससे मरीजों को समय पर उपचार और प्रशासनिक सहायता मिल सके।
🏗️ ₹188 करोड़ की योजनाओं का शिलान्यास
करसोग में आयोजित इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने 188 करोड़ रुपये की विकास योजनाओं का शिलान्यास और उद्घाटन भी किया। इस दौरान उन्होंने पूर्व भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि “डबल इंजन” की सरकार ने प्रदेश का खजाना खाली कर दिया था और चुनाव से पहले बिना योजना के स्कूल खोल दिए, जिससे शिक्षा की गुणवत्ता पर असर पड़ा।
💬 महिलाओं और जनता के लिए बड़ी घोषणाएँ
मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा कि कांग्रेस सरकार ने जो वादे किए हैं, उन्हें पूरा किया जाएगा। महिलाओं को ₹1500 प्रतिमाह आर्थिक सहायता देने का वादा भी पूरा होगा। उन्होंने कहा कि सरकार “व्यवस्था परिवर्तन” के रास्ते पर है और पहले जरूरी वित्तीय दायित्वों को पूरा किया जा रहा है।
🌄 2032 तक समृद्ध बनेगा हिमाचल
मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि वर्ष 2032 तक हिमाचल देश का सबसे समृद्ध राज्य बनेगा। उन्होंने कहा कि भाजपा शासन में 50,000 करोड़ की ग्रांट मिलने के बावजूद विकास की रफ्तार धीमी रही, जबकि मौजूदा सरकार जनता का धन सीधे योजनाओं के माध्यम से जनता तक पहुँचा रही है।