Rashtra View | LPG Portability News, 29 September 2025
अगर आप अपने मौजूदा एलपीजी सप्लायर की सेवा से नाखुश हैं तो आपके लिए खुशखबरी है। जल्द ही उपभोक्ताओं को मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी की तरह ही अपने एलपीजी कनेक्शन को पोर्ट करने की सुविधा मिलने वाली है। यानी अब आप चाहे तो गैस डीलर ही नहीं बल्कि गैस कंपनी भी बदल पाएंगे।
पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस नियामक बोर्ड (PNGRB) ने एलपीजी इंटरऑपरेबिलिटी फ्रेमवर्क तैयार करते हुए उपभोक्ताओं और हितधारकों से मध्य अक्तूबर तक सुझाव मांगे हैं। इसका उद्देश्य उपभोक्ताओं को ज्यादा विकल्प और बेहतर सेवा उपलब्ध कराना है।
अभी तक ग्राहकों को केवल एक ही कंपनी के डीलर बदलने की छूट थी। उदाहरण के तौर पर इंडियन ऑयल के इंडेन गैस कनेक्शन वाले उपभोक्ता केवल इंडेन डीलर ही बदल सकते थे, लेकिन वे भारत गैस या एचपी गैस में स्विच नहीं कर सकते थे। अब नियामक बोर्ड चाहता है कि उपभोक्ता कंपनी बदलने की भी आज़ादी पा सकें।
बोर्ड के अनुसार हर साल करीब 17 लाख से ज्यादा उपभोक्ता शिकायतें दर्ज कराते हैं, जिनमें से ज़्यादातर आपूर्ति में देरी और डिलीवरी में बाधाओं से जुड़ी होती हैं। कई बार रिफिल डिलीवरी हफ्तों तक अटक जाती है, जिससे उपभोक्ताओं को भारी परेशानी होती है। ऐसे में कंपनी पोर्टेबिलिटी लागू होने से उपभोक्ताओं को ज्यादा लचीलापन और बेहतर सेवा सुनिश्चित हो सकेगी।
यूपीए सरकार ने 2013 में 24 जिलों में एलपीजी पोर्टेबिलिटी का पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया था और 2014 में इसे पूरे देश में लागू किया गया था। लेकिन उस समय कंपनी बदलने का विकल्प नहीं था। अब आने वाले समय में ग्राहकों को यह सुविधा भी मिल सकती है।