हिमाचल प्रदेश में शिक्षा विभाग के तहत चल रही एसएमसी शिक्षकों की सीमित विभागीय भर्ती (एलडीआर) प्रक्रिया पर सरकार ने फिलहाल रोक लगा दी है।
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने विभाग को निर्देश दिए हैं कि भर्ती प्रक्रिया को नए सिरे से तैयार किया जाए ताकि इसमें पारदर्शिता और संतुलन सुनिश्चित हो सके।
मौजूदा प्रस्ताव में एसएमसी (स्कूल मैनेजमेंट कमेटी) के अंतर्गत शिक्षकों की भर्ती एलडीआर यानी लिमिटेड डिपार्टमेंटल रिक्रूटमेंट कोटे के पांच फीसदी पदों के आधार पर की जा रही थी। हालांकि, इसमें एसएमसी शिक्षकों के लिए केवल 142 पद निर्धारित किए गए थे। शिक्षा मंत्री ने इसे "अत्यंत कम संख्या" बताते हुए इस पर आपत्ति जताई और कहा कि भर्ती का आधार शिक्षकों के कुल कैडर स्ट्रक्चर को ध्यान में रखकर होना चाहिए।
वर्तमान में राज्य में टीजीटी, जेबीटी और सीएंडवी श्रेणी के लगभग 38,000 शिक्षक कार्यरत हैं। इस आधार पर यदि पांच फीसदी कोटा लागू किया जाए तो एसएमसी शिक्षकों के लिए लगभग 1,900 पदों का प्रस्ताव बन सकता है। इसलिए, शिक्षा विभाग को निर्देश दिए गए हैं कि वह इस नए ढांचे के आधार पर प्रस्ताव तैयार करे।
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने यह भी कहा कि सरकार का उद्देश्य योग्य और लंबे समय से सेवा दे रहे एसएमसी शिक्षकों को स्थायी अवसर देना है, लेकिन यह प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और न्यायसंगत होनी चाहिए। जब तक नए सिरे से पदों की गणना नहीं हो जाती, तब तक एलडीआर के तहत भर्ती प्रक्रिया स्थगित रखी जाएगी।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि पहले जारी किए गए प्रश्नपत्र तैयार करने के निर्देशों को वापस ले लिया गया है, ताकि नई प्रक्रिया शुरू करने से पहले किसी तरह की प्रशासनिक जटिलता न रहे।
📌 क्या है एलडीआर कोटा?
एलडीआर यानी लिमिटेड डिपार्टमेंटल रिक्रूटमेंट कोटा, वह प्रावधान है जिसके तहत विभागीय कर्मचारियों या विशेष श्रेणी के उम्मीदवारों को कुछ प्रतिशत पदों पर भर्ती का अवसर दिया जाता है। इस कोटे के माध्यम से एसएमसी शिक्षकों को सरकारी सेवा में स्थायी नियुक्ति का अवसर मिल सकता है।