नई दिल्ली / चंडीगढ़:
पंजाब प्रशासन में हलचल मचाने वाली एक बड़ी ख़बर सामने आई है। केंद्र सरकार की निगरानी एजेंसियों ने पंजाब के करीब 50 IAS और IPS अधिकारियों पर नज़र रखी हुई है। सूत्रों के मुताबिक, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इन अधिकारियों के खिलाफ सख़्त कार्रवाई की तैयारी कर ली है।
इस जांच का संबंध पूर्व डीआईजी हरचरण सिंह भुल्लर रिश्वत प्रकरण से जुड़ा बताया जा रहा है। अब तक की जांच में यह खुलासा हुआ है कि भुल्लर के कुछ राजनीतिक और प्रशासनिक अधिकारियों से आर्थिक संबंध थे। सीबीआई ने अपनी रिपोर्ट में इन कड़ियों का ज़िक्र किया है और कहा है कि सबूत मोबाइल डेटा और वित्तीय लेन-देन के आधार पर मिले हैं।
🔍 सीबीआई की जांच में नए खुलासे
सीबीआई सूत्रों के अनुसार, जांच के दौरान एक बिचौलिए “कृष्णू” का नाम सामने आया है, जिसने कई वरिष्ठ अफसरों के साथ संपर्क बनाए रखे थे।
रिपोर्ट के मुताबिक, पंजाब के कई अफसरों ने बेेनामी संपत्तियों में निवेश किया था। इन सभी मामलों पर केंद्र सरकार ने एक गुप्त विभागीय जांच शुरू कर दी है।
इसी जांच में यह भी पाया गया है कि कुछ अधिकारी अपने पैसे को रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट्स में लगाकर उसे वैध दिखाने की कोशिश कर रहे थे।
🏫 स्कूल शिक्षा बोर्ड के अधिकारी पर भी शक
सूत्रों के मुताबिक, जांच एजेंसियों की राडार पर पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी का नाम भी है। यह अधिकारी दिल्ली में आम आदमी पार्टी (AAP) के एक प्रमुख नेता का करीबी बताया जा रहा है।
सीबीआई ने बिचौलिए कृष्णू से पूछताछ में उन सभी लोगों के नाम पूछे जिनकी तस्वीरें उसने अपने सोशल मीडिया अकाउंट्स पर पोस्ट की थीं, जिनमें उक्त अधिकारी भी शामिल है।
🗣️ राजनीतिक हलचल और भाजपा की प्रतिक्रिया
पंजाब भाजपा अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने भी इस मामले पर बयान दिया है।
उन्होंने तरणतारण में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि “अब वक्त आ गया है कि प्रशासनिक तंत्र में छिपे भ्रष्टाचारियों पर सख़्त कार्रवाई हो।”
उनका यह बयान ऐसे समय पर आया है जब पंजाब में राजनीतिक और प्रशासनिक स्तर पर हलचल तेज़ है।
⚖️ क्या होगा आगे?
केंद्रीय गृह मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार, आने वाले हफ्तों में कई वरिष्ठ अफसरों पर विभागीय जांच या सस्पेंशन की कार्रवाई हो सकती है।
सरकार का कहना है कि किसी भी स्तर पर भ्रष्टाचार या राजनीतिक पक्षपात बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
